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अस्तलगामी सूर्य देव को व्रतियों ने दिया अर्घ्य

अस्तलगामी सूर्य देव को व्रतियों ने दिया अर्घ्य  

मो० शबा की रिपोर्ट 

तेनुघाट --- लोक आस्था का महान पर्व छठ के तीसरे दिन 7 नवंबर को बड़ी संख्या में वर्ती एवं श्रद्धालु अस्तलगामी सूर्य देव को अर्घ्य श्रद्धालुओं ने दिया । पानी में डुबकी लगाकर भारतीयों ने भास्कर देव को अर्ध दिया और अपने, अपने परिवार के साथ अपने आस पास के लोगों की सुख समृद्धि की कामना की । इस अवसर पर छठ पर्व का जश्न चारों ओर देखते ही बन रहा है। छठ घाट को आकर्षक तरीके से सजाया गया था जिसे देखकर भारती एवं श्रद्धालुओं के मन प्रफुल्लित हो गया । छठ पूजा समिति एवं अन्य कई श्रद्धालुओं के द्वारा फल का वितरण किया गया । छठ महापर्व के तीसरे दिन 7 नवंबर को अस्तलगामी भगवान भास्कर को प्रथम अर्घ्य दिया गया। इससे पूर्व सभी ने व्रतियों के जाने वाले रास्तों की साफ सफाई भी की । वहीं 8 नवंबर को उदीयमान सूर्य को अर्घ्य देने के साथ छठ पर्व पूर्ण होगा। 

 इस दौरान छठ गीतों से बेरमो कोयलांचल का हर गली, मोहल्ला, चौक-चौराहा गुंजायमान रहा। क्षेत्र के विभिन्न चौक चौराहों, छठ घाट तथा पूजा समितियों द्वारा छठ व्रतियों के घरों में छठ मईया के गीत गुंजता रहा। जिसमें कांच ही बांस के बहंगी, बहंगी चलकत जाए.., मारबो रे सुगवा धनुष से.. सहित कई कर्णप्रिय गीतों से क्षेत्र में भक्ति रस घुल रहे हैं। इस अवसर पर छठ पर्व को लेकर तेनुघाट और आसपास के बाजार में फलों की खरीदारी श्रद्धालुओं ने किया। इस अवसर पर प्रशासन अधिकारीयों और स्थानीय जन प्रतिनिधियों ने साथ कमिटी के सदस्य ने छठ व्रतियों को किसी तरह की दिक्कत नहीं हो, इसका हमेशा ख्याल रखा जाना चाहिए। उन्होंने छठ घाट की सफाई करने वाली संस्था की तारीफ भी की।        

ज्ञात हो कि 7 नवंबर की शाम में अस्ताचलगामी सूर्य को अ‌र्ध्य दिया गया । वहीं 8 नवंबर की सुबह में उदयीमान सूर्य को अ‌र्घ्य देकर चार दिवसीय पर्व संपन्न होगा।

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